हम हमेशा से सुनते आये हैं “जल ही जीवन है”। जल के बिना जीवन की कल्पना भी मुश्किल है जीवन के सभी कार्यों का निष्पादन करने के लिये जल की आवश्यकता होती है।
कवि एवं सन्त रहीम दास जी ने सदियों पहले पानी का महत्व बता दिया था किन्तु हम आज भी जल संरक्षण के प्रति गम्भीर नहीं हैं।
रहिमन पानी राखिये, बिन पानी सब सून |
पानी गये ना ऊबरे, मोती मानुष चून ||
How To Save Water in Hindi /Hindi Story on Save Water
कैसे बचाएं पानी
जैसे जैसे गर्मी बढ़ रही है देश के कई हिस्सों में पानी की समस्या विकराल रूप धारण कर रही है। प्रतिवर्ष यह समस्या पहले के मुकाबले और बढ़ती जाती है। लातूर जैसी कई जगह तो पानी की कमी की वजह से हालात अत्यन्त भयावह हो रहे हैं। लेकिन हम हमेशा यही सोचते हैं बस जैसे तैसे गर्मी का सीजन निकाल जाये बारिश आते ही पानी की समस्या दूर हो जायेगी और यह सोचकर जल सरंक्षण के प्रति बेरुखी अपनाये रहते हैं।
➡ पढ़ें: पानी बचाओ व जल संरक्षण पर 60 अनमोल विचार व नारे
किन्तु आज मानव जाति के लिये जल सरंक्षण अत्यन्त महत्वपूर्ण हो गया है। यदि अब भी हम लोग जल सरंक्षण के प्रति गम्भीर नहीं हुए तो यह बात बिलकुल सही साबित होगी कि-
तीसरा विश्व युद्ध पानी के लिये होगा।
जल संसाधन / Water Resources in Hindi :
जल संसाधन पानी के वह स्रोत हैं जो मानव जाति के लिये उपयोगी हैं या जिनके उपयोग में आने की सम्भावना है। पूरे विश्व में धरती का लगभग तीन चौथाई भाग जल से घिरा हुआ है किन्तु इसमें से 97% पानी खारा है जो पीने योग्य नहीं है, पीने योग्य पानी की मात्रा सिर्फ 3% है। इसमें भी 2% पानी ग्लेशियर एवं बर्फ के रूप में है। इस प्रकार सही मायने में मात्र 1% पानी ही मानव के उपयोग हेतु उपलब्ध है।
जल के स्रोतों को हम तीन भागों में विभाजित कर सकते हैं –
1. धरातल के ऊपर से प्राप्त जल – यह बारिश का जल है जो शुद्ध होता है किन्तु सतर्कता ना रखने पर जमीन पर आते आते इसमें कई प्रकार की अशुद्धियाँ घुलने का डर रहता है।
2. धरातलीय जल – नदी, तालाब, झील, झरने आदि धरातलीय जल के प्रकार हैं।
3. अन्त: धरातलीय जल – कच्चे तथा पके कुएं , बावड़ी, बोरिंग आदि।
जल सरंक्षण की आवश्यकता क्यों है ? Why water conservation is needed in Hindi ?
जनसंख्या वृद्धि, शहरीकरण तथा औधोगिकीकरण के कारण प्रति व्यक्ति के लिये उपलब्ध पेयजल की मात्रा लगातार कम हो रही है जिससे उपलब्ध जल संसाधनों पर दबाव बढ़ता जा रहा है। जहाँ एक ओर पानी की मांग लगातार बढ़ रही है वहीँ दूसरी ओर प्रदूषण और मिलावट के कारण उपयोग किये जाने वाले जल संसाधनों की गुणवत्ता तेजी से घट रही है।
साथ ही भूमिगत जल का स्तर तेजी से गिरता जा रहा है ऐसी स्तिथि में पानी की कमी की पूर्ति करने के लिये आज जल संरक्षण की नितान्त आवश्यकता है।
सम्पूर्ण विश्व में 22 मार्च को विश्व जल दिवस ( World Water Day ) मनाया जाता है। इसका मुख्य उद्देश्य लोगों को जल संरक्षण के प्रति जागरूक करना है। अटल जी कहा करते थे-
यदि हम लोग जल संरक्षण के प्रति गम्भीर नहीं हुए तो तीसरा विश्व युद्ध पानी के लिये होगा।
और अब यह बात अब बिलकुल सही लगने लगी है।
जल संरक्षण के उपाय / How To Conserve and Save Water in Hindi
जल संरक्षण आज विश्व की सर्वोपरि प्राथमिकताओं में से होनी चाहिये। जल संरक्षण हमे घर में, घर के बाहर, बाग़ बगीचों, खेत खलिहान हर जगह करना चाहिये।
1. घरेलू जल सरंक्षण / How to save water at home
- दाढ़ी बनाते समय, ब्रश करते समय, सिंक में बर्तन धोते समय, नल तभी खोलें जब सचमुच पानी की ज़रूरत हो।
- गाड़ी धोते समय पाइप की बजाय बाल्टी व मग का प्रयोग करें, इससे काफी पानी बचता है।
- नहाते समय शॉवर की बजाय बाल्टी एवं मग का प्रयोग करें,काफी पानी की बचत होगी। इस काम के लिए आप भारत रत्न सचिन तेंदुलकर से प्रेरणा ले सकते हैं जो सिर्फ १ बाल्टी पानी से ही नहाते हैं।
- वाशिंग मशीन में रोज-रोज थोड़े-थोड़े कपड़े धोने की बजाय कपडे इकट्ठे होने पर ही धोएं।
- ज्यादा बहाव वाले फ्लश टैंक को कम बहाव वाले फ्लश टैंक में बदलें। सम्भव हो तो दो बटन वाले फ्लश का टैंक खरीदें। यह पेशाब के बाद थोड़ा पानी और शौच के बाद ज्यादा पानी का बहाव देता है।
- जहाँ कहीं भी नल या पाइप लीक करे तो उसे तुरन्त ठीक करवायें। इसमें काफी पानी को बर्बाद होने से रोका जा सकता है।
- बर्तन धोते समय भी नल को लगातार खोले रहने की बजाये अगर बाल्टी में पानी भर कर काम किया जाए तो काफी पानी बच सकता है।
2. घर के बाहर जल संरक्षण
- सार्वजनिक पार्क, गली, मौहल्ले, अस्पताल, स्कूलों आदि में जहाँ कहीं भी नल की टोंटियाँ खराब हों या पाइप से पानी लीक हो रहा हो तो तुरन्त जलदाय ऑफिस में या सम्बन्धित व्यक्ति को सूचना दें, इसमें हजारों लीटर पानी की बर्बादी रोकी जा सकती है।
- बाग़ बगीचों एवं घर के आस पास पौधों में पाइप से पानी देने के बजाय वाटर कैन द्वारा पानी देने से काफी पानी की बचत हो सकती है
- बाग़ बगीचों में दिन की बजाय रात में पानी देना चाहिये। इससे पानी का वाष्पीकरण नहीं हो पाता। कम पानी से ही सिंचाई हो जाती है
- सिंचाई क्षेत्र हेतु कृषि के लिये कम लागत की आधुनिक तकनीकों को अपनाना जल सरंक्षण हतु उपयोगी है।
3. वृक्षा रोपण / Plantation
वृक्ष हमारे अभिन्न मित्र हैं ये हमें छाया,फल,लकड़ी प्रदान करते हैं जमीन का कटाव रोकते हैं, बाढ़ से सुरक्षा करते हैं। जहाँ ज्यादा वृक्ष होते हैं वहां अच्छी बारिश होती है जिससे बारिश में नदी नाले भर जाते हैं और पानी की कमी नहीं हो पाती। इसलिए लगातार वृक्षा रोपण करते रहना चाहिये।
4. जल संरक्षण हेतु कानून
कई क्षेत्रों में बिना रोकथाम के पानी निकालने से भूजल के स्तर में भारी गिरावट आ जाती है। इसके लिये भूजल के वितरण प्रबन्धन नियमों का पालन करना जरूरी है। साथ ही नए कानून बनाने की ज़रूरत है जो किसी भी प्रकार के वाटर वेस्टेज को एक गैर-कानूनी काम के रूप में देखें और ऐसा करने वालों को जुरमाना और सजा देने का प्रावधान करें।
5. औधोगिक क्षेत्र में नई तकनीक
पानी की जरूरत को कम करने लिये, औद्योगिक क्षेत्र, कारखानों आदि में आधुनिक तकनीक को प्रयोग में लेना चाहिये।
6. वर्षा जल संचयन / Rain water harvesting in Hindi
हम लोगों की अकेली यह आदत ही जल संरक्षण हेतु मील का पत्थर साबित हो सकती है। एक बारिश के बाद अगली बारिश से छतों से वर्षा जल का संचय करें। यह पीने, कपड़े धोने, बागवानी आदि सभी कार्यों हेतू उत्तम है। इसके लिये गाँव, शहरों में भवन निर्माण सम्बन्धी नियमों में वर्षा जल संचयन को अनिवार्य किया जाना चाहिये तथा लोगों को वर्षा जल संचय हेतु प्रोत्साहित किये जाने वाले उपाय ढूंढे जाने चाहियें।
7. जल जागरूकता कार्यक्रम
पानी की बर्बादी रोकने, वर्षा जल का संचयन करने, लगातार वृक्षारोपण करने तथा पानी को प्रदुषण से बचाने हेतु लगातार जागरूकता कार्यक्रम चलाते रहना चाहिये और यह प्रयास हम सबको मिलकर करना चाहिए।
8. वाटर ओवरफ्लो अलार्म लगाएं
छतों पर लगी टंकियों से पानी गिरकर बर्वाद होना एक आम दृश्य है। हमें इसे रोकना होगा और इसके लिए सबसे सरल उपाय है कि आप अपनी टंकी को एक water overflow alarm से जोड़ दें। इस बारे में हम डिटेल में अगली पोस्ट में बात करेंगे।
9. Flush के अन्दर पानी की बोतल में बालू-कंकड़ भर कर डाल दें
अमूमन फ्लश से ज़रूरत से अधिक पानी बहता है, इसलिए अगर आप उसमे १ लीटर की बोतल में बालू-कंकड़ आदि भर के डाल देते हैं तो हर एक फ्लश पे आप १ लिटर पानी बचा सकते हैं, और पूरे वर्ष में हज़ारों लीटर पानी बचाया जा सकता है।
फ्लश से रिलेटेड इस बात पर भी ध्यान दें कि कहीं फ्लश का नौब पूरी तरह से न उठने के कारण वो leak तो नहीं हो रहा है। कई बार इस कारण से रात भर में पूरी टंकी खाली हो जाती है।
10. Water Supply के पानी को अपना पानी समझें
जो लोग भाग्यशाली हैं उनके घरों में सरकार की तरफ से वाटर-सप्लाई का पानी भी आता है। देखा गया है कि अक्सर लोग लगभग मुफ्त में मिलने वाले इसे पानी को बहुत अधिक बवाद करते हैं…वे इसे क्यारी में लगा कर छोड़ देते है (बरसात के मौसम में भी), अपने कूलर में पानी भरने के लिए लगा कर भूल जाते हैं या वाशिंग मशीन में लगा कर छोड़ देते हैं। और चूँकि ये पाने टाइम-टाइम से आता है, इसलिए कई बार लोग टोटियां खुली छोड़ कर बाकी काम में व्यस्त हो जाते हैं और जब पाने आने का टाइम होता है तो पानी बस यूँही गिरता रहता है।
इन लापरवाहियों की वजह से वे एक ही दिन में सैकड़ों लीटर पानी बर्वाद कर देते हैं। वहीँ दूसरी और वे अपनी टंकियों में भरे पानी को लेकर बहुत सजग होते हैं। यदि आप भी ऐसे लोगों में शामिल हैं तो कृपया ऐसा करना बंद करें। पानी तो पानी है, इसमें सरकारी और अपने का भेद नहीं करना चाहिए।
11. उतना ही पानी लें जितना पीना है
जब आप 1 glass RO water पीते हैं तो ध्यान रखिये कि इसे फ़िल्टर करने के प्रोसेस में 3 glass पानी waste किया जाता है। इसलिए जब भी आप गिलास में RO वाटर लें तो पूरा भर के लेने की बजाये उतना ही लें जितना पीना है। और किसी को देना भी हो तो उसे पानी ग्लास में भर कर देने की बजाये जग या water bottle के साथ गिलास दे सकते हैं। इस तरह से काफी पानी बचाया जा सकता है।
यदि आप किसी रेस्टोरेंट में जाते हैं तो सबसे पहले वेटर पानी ला कर रख देता है, तब भी जब आपको उसकी ज़रूरत न हो! इसलिए जब आप ऐसी जगह जाइए तो तभी पानी लीजिये जब वाकई में आपको उसकी need हो।
12. RO Machine या AC से निकलने वाले waste water को उपयोग करें
RO machine द्वारा लिए गए कुल पानी का 75% part waste हो जाता है। इसलिए कोशिश करिए कि मशीन की वास्ते पाइप से जो पानी निकला रहा है उसे बकेट में इकठ्ठा कर लिया जाए या पाइप लम्बी करके उसे पौधों को सींचने के काम में लाया जाये। इसी तरह AC से निकलने वाले पानी को भी सही तरीके से इस्तेमाल किया जा सकता है।
13. Hand-Pump का प्रयोग करें
पहले के जमाने में लोग हैण्ड पंप का ही प्रयोग करते थे। इस वाजह से पानी की बर्बादी बहुत कम होती थी, जिसको जितनी ज़रूर होती थी वो उतना ही पानी निकालता था। पर समय के साथ लोग मोटर से पानी भरने लगे और हैण्ड पंप को भूल गए। यदि आपके यहाँ हैण्ड पंप लगा ही न हो तो कोई बात नहीं लेकिन अगर लगा है और बेकार पड़ा है तो उसे ठीक करा कर कभी-कभार प्रयोग करें। अच्छा होगा अगर हम intentionally हफ्ते का एक दिन सिर्फ हैण्ड पंप use करके पानी निकालें। ऐसा करने से कम से कम एक दिन हम सिर्फ उतना ही पानी निकालेंगे जितने की हमें सचमुच ज़रूरत है।
14. सब्जियां-फल किसी बर्तन में धोएं
कई बार लोग सब्जियों और फलों को running water से धोते हैं, अगर इसकी जगह आप किसी बड़े भगौने या बर्तन में पानी भर कर सब्जियां धोएँगे तो पानी भी कम लगेगा और वो ठीक से साफ़ भी हो पाएंगी।
15. Wash-basin का फ्लो कम कर दें
वाश बेसिन के नीचे भी पानी कण्ट्रोल करने के लिए एक टोटी लगी होती है, अकसर वो पूरी खुली होती है, अगर आप उसे थोड़ा सा घुमा देंगे तो पानी का फ्लो अपने आप कुछ कम हो जाएगा और काफी पानी बर्वाद होने से बच पायेगा।
16. Bathroom में एक-आध बाल्टी एक्स्ट्रा रखें
अकसर गर्मियों के दिनों में टंकी का पानी बहुत गरम हो जाता है और लोग नहाते समय पहले कुछ पानी गिरा देते हैं कि उसके बाद ठंडा पानी आने लगे। ऐसा करना पड़े तो पानी गिराने की बजाये किसी बाल्टी में भर कर रख लें। और बेहतर तो ये होगा कि सुबह के टाइम ही आप बाल्टियों में पानी भर कर रख लें ताकि नहाते वक्त आपको ठंडा पानी मिल सके।
17. प्लम्बर का हल्का-फुल्का काम खुद सीखें
अकसर देखा जाता है कि घर में मौजूद पानी के taps टपकते रहते हैं और हम उसे यूँही ignore करते रहते हैं क्योकि हम आलस में प्लम्बर को बुलाते नहीं या ये सोचते हैं कि अगर प्लम्बर को बुलायेंगे तो वो अनाप-शनाप पैसे मांगेगा और हम खुद उसे ठीक करने की हिम्मत नहीं दिखाते। लेकिन अगर हम plumbing के बेसिक सामान घर पे रखें और खुद ही छोटी-मोटी चीजें ठीक करना सीख लें तो हम बहुत सारा पानी बर्वाद होने से रोक सकते हैं। मेरी तो सलाह है कि हमें स्कूलों में बच्चों को plumbing से रिलेटेड बेसिक काम ज़रूर सिखाने चाहिए।
18. जो भी पानी बर्वाद करता है उसे रोकें
AKC पर कुछ महीनों पहले एक पोस्ट शेयर की गयी थी – प्लेट में खाना छोड़ने से पहले Ratan Tata का ये संदेश ज़रूर पढ़ें!
जिसमे उन्होंने जर्मनी के एक रेस्टोरेंट का अनुभव बताया था जिसमे खाना वेस्ट करने पर वहां के नागरिकों ने आपत्ति जताई थी कि भले आपने पैसे देकर खाना खरीदा हो, फिर भी आप उसे बर्वाद नहीं कर सकते क्योंकि भले पैसा पैसा आपका है पर संसाधन देश के हैं !
और यही बात हम Indians को भी समझनी होगी। पानी की बर्बादी सिर्फ उसे बर्वाद करने वाले को ही नहीं बल्कि पूरे समाज को प्रभावित करती है। अगर आपका पड़ोसी पानी बर्वाद करता है तो आपका भी वाटर-लेवल कम होता है…इसलिए इस अनमोल संसाधन को न waste करिए और न waste करने दीजिये।
आइये जल बचाएँ, “क्योंकि जल होगा तो कल होगा “
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Dr.Manoj Gupta
B-3 Palam Vihar, Gurgaon (Haryana)
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Blog: drmanojgupta.blogspot.in (plz visit for Health Articles in Hindi)
डॉ० मनोज गुप्ता राज्य स्तरीय आयुर्वेद के सर्वोच्च पुरस्कार धन्वंतरि पुरस्कार से सम्मानित सीनियर आयुर्वेद विशेषज्ञ हैं। आयुर्वेद एवं स्वास्थ्य लेखन के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्यों के लिए आपको माननीय स्वास्थ्य मन्त्री तथा अनेक संस्थाओं द्वारा सम्मानित किया जा चुका है। आपके लेख राजस्थान पत्रिका, निरोगसुख जैसे प्रतिष्ठित पत्र-पत्रिकाओं में पब्लिश होते रहे हैं।
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We are grateful to Dr. Manoj Gupta for sharing a very informative article on How to save water in Hindi / Hindi Story on Save Water
You may use this article to write a Hindi Essay on Water Conservation / जल संरक्षण पर निबंध.
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shivangi says
Very nice information about water saving
Thanks ??
Nand kumar says
Apko soch ko Salam. I am proud of you for this great thought.
PRASHANT KUMAR TIWARI says
Yeh ek bahut hi achha kadam desh ke future ke liye ,
desh nirman me yuth’s ki mahatvaporn bhumika hai, or mai is bare me pichhle 1 year se kam kar raha hu or logo ko waste water management, waste management and more and more tree’s plantation ke bare me suggest karta hu…
Sabhi padhne walo se nivedan hai ki kripya khud water management me interested ho or dusri ko salah de…… Thanks
aparm says
bahut hi achhi jankari ke liye dhanybad.mein ise aur logo ke saath jarur share karungi
Manjit says
Namaskar bahut accha lekh hai.
shivani says
Thanx very nice
Aj hum apne CLG me 7days camp shuru kar raha hai or humara topic hai waste management or me chahti hu ki ap iske bare me kuch bathe
Team of NSS
Govt college Bheriya
Preethi says
This helped in my pranav international school integrated project (hindi) I am from 6 grade Preethi
Aryan says
bahut he aacha likha hai . thanks you paani bachana aana chiea sabko
Dinesh Anand says
बहुत ही बढ़िया मैं आपकी feedback को एक WhatsApp group में share कर रहा हूं आप अपना phone no दें ताकि आपकी valuable information लोगों तक पहुंचे
gyanipandit says
“Jal Hain To Kal Hain” Esliye Hame Pani Ki Bachat Karke Hamara Bhavishya Surakshit Karana Hain.